1. घर बैठे करें संशोधन (नाम, DOB, मोबाइल)
- UIDAI जल्द ही एक QR-कोड आधारित मोबाइल ऐप लॉन्च कर रहा है। इसके ज़रिए आप अपने आधार कार्ड में नाम, जन्म तिथि, पता और मोबाइल नंबर जैसे डेटा घर बैठे अपडेट कर सकेंगे ।
- अब आधार सेवा केंद्रों पर लंबी लाइनों में खड़े रहने की ज़रूरत नहीं। केवल बायोमेट्रिक अपडेट (फिंगरप्रिंट या आइरिस) के लिए केंद्र पर जाना पड़ेगा ।
2. डिजिटल डॉक्यूमेंट वेरिफिकेशन
- ऐप में आप पैन कार्ड, वोटर आईडी, जन्म प्रमाण पत्र, मार्कशीट आदि दस्तावेज़ों को डिजिटल रूप में ऐप में लिंक या फेच कर सकेंगे, जैसे डिजीलॉकर में होती है ।
- इससे हर बार फिजिकल डॉक्यूमेंट जमा करने की ज़रूरत नहीं होगी—ऑथेंटिकेशन तेज, सुरक्षित और आसान होगा ।
3. मोबाइल से QR कोड-आधार शेयरिंग
- अब आपको फिजिकल आधार कार्ड की फोटोकॉपी देने की ज़रूरत नहीं—QR कोड के ज़रिए डिजिटल आधार शेयर कर सकेंगे ।
- शॉप, होटल, एयरपोर्ट, सरकारी योजनाओं या प्रॉपर्टी रजिस्ट्रेशन के लिए सिर्फ मास्क्ड या पूर्ण QR कोड शेयर कर पहचान सत्यापित करवा सकते हैं।
अन्य लाभ
प्रॉपर्टी रजिस्ट्रेशन में प्रमाणीकरण
- रजिस्ट्रार/सब-रजिस्ट्रार को भी आधार QR के ज़रिए प्रमाणीकरण का एक्सेस मिलेगा, जिससे फर्जी रजिस्ट्री पर लगाम लगेगी ।
बच्चों के बायोमेट्रिक अपडेट अभियान
- UIDAI बोर्ड्स (CBSE, ICSE, यूपी बोर्ड आदि) के साथ मिलकर यह सुनिश्चित करेगा कि 5–7 या 15–17 साल उम्र के बच्चों के बायोमेट्रिक अपडेट समय पर हो, और बिना किसी शुल्क के हो सके।
कब तक आएगा नया ऐप?
- UIDAI के CEO के अनुसार, नया ऐप “कुछ ही सप्ताहों में” – यानी जून-जुलाई 2025 में – लॉन्च होने की उम्मीद है।
- वहीं कुछ रपटें कहती हैं कि यह सुविधा नवंबर 2025 से पूरी तरह उपलब्ध हो जाएगी, जब सिर्फ बायोमेट्रिक अपडेट के लिए ही केंद्र जाना पड़ेगा ।
क्यों ये बदलाव ज़रूरी और लाभकारी हैं?
लाभ | विवरण |
---|---|
समय की बचत | केंद्रों में समय और यात्रा की जरूरत खत्म |
डिजिटल इंडिया | पेपरलेस प्रक्रियाएँ बढ़ेंगी और डेटा कंट्रोल रहेगा उपयोगकर्ता के हाथ में |
कम धोखाधड़ी | QR-आधारित वेरिफिकेशन से फर्जीवाड़ा कम होगा |
सरकारी योजनाओं में पारदर्शिता | प्रॉपर्टी रजिस्ट्रेशन जैसी प्रक्रियाओं में प्रमाणीकरण आसान और भरोसेमंद होगा |